School Fees: हाईकोर्ट ने की टिप्पणी, कहा- ‘फीस ना दे पाने पर बोर्ड परीक्षा देने से छात्र को रोकना संविधान का उल्लंघन’

School Fees: अगर आपके बच्चे सीबीएसई स्कूल से 10वीं या फिर 12वीं की पढ़ाई कर रहे हैं तो यह खबर आपके लिए जानने योग्य हैं। इन दिनों देश में कई ऐसे मामले सामने आए हैं जिनमें बताया गया है कि स्कूल की फीस ना भर पाने के कारण बच्चे को बोर्ड एग्जाम के लिए एडमिट कार्ड नहीं दिए जा रहे हैं। इससे छात्रों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। कुछ ऐसे भी मामले हैं जिनमें अटेंडेंस कम होने के कारण बच्चे को बोर्ड परीक्षा के लिए एडमिट कार्ड नहीं दिया जा रहा है। अब इस सबके बीच बड़ा सवाल है कि क्या इन परिस्थितियों में स्कूल छात्रों को CBSE 10th, 12th Exam 2023 देने से रोक सकते हैं? बहरहाल, इससे पहले पढ़िए दिल्ली हाईकार्ट की वो टिप्पणी जिसे सुनकर छात्रों के चेहरे खिल उठेंगे।

दिल्ली हाईकोर्ट का आदेश

आपको बता दें कि दिल्ली हाई कोर्ट ने ऐसे ही एक मामले पर फैसला सुनाया है। आज यह एचसी का फैसला सबको सुनना चाहिए। दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा है कि ”शिक्षा एक महत्वपूर्ण अधिकार है, जो ‘जीवन के अधिकार’ के तहत शामिल है। किसी बच्चे को शैक्षणिक सत्र के बीच में स्कूल में पढ़ने या परीक्षा देने से इस आधार पर रोका नहीं जा सकता कि उसकी फीस का भुगतान नहीं हुआ है। जस्टिस मिनी पुष्करणा ने कहा किसी छात्र को परीक्षा, खासकर बोर्ड परीक्षा देने से वंचित करना जीवन के अधिकार के समान उसके अधिकारों का उल्लंघन होगा। बता दें कि अदालत की यह टिप्पणी दिल्ली के एक प्राइवेट अन-एडेड स्कूल के 10वीं कक्षा के उस छात्र की याचिका पर आई, जिसको School Fees न भरने के कारण एडमिट से वंचित रखा गया था। बता दें कि याचिकाकर्ता ने दावा किया कि वह कोविड लॉकडाउन के बाद अपने पिता को हुए आर्थिक नुकसान के कारण नियमित रूप से अपनी स्कूल फीस का भुगतान करने में असमर्थ था।

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सीबीएसई बोर्ड का नियम

अटेंडेंस कम होने के पीछे अगर छात्रों के पास वैध कारण और सपोर्टिंग डॉक्यूमेंट (जैसे- मेडिकल सर्टिफिकेट) नहीं है तो फिर निराशा हाथ लग सकती है। ऐसा में इसलिए कह रहा हूं क्योंकि इस मामले में सीबीएसई बोर्ड भी सख्त है। बोर्ड की नियम के मुताबिक अगर आप रेगुलर स्टूडेंट हैं तो स्कूल में आपकी 75% अटेंडेंस जरूरी है। हालांकि अगर अटेंडेंस ज्यादा कम है तो आपको उसका वैध कारण और सपोर्टिंग डॉक्यूमेंट (जैसे- मेडिकल सर्टिफिकेट) स्कूल में जमा करना होगा।

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