आखिर बिहार में क्यों छोड़ रहे छात्र कॉलेज और विश्वविद्यालय, जानें इसके पीछे की मुख्य वजह

Collage: बिहार के छात्र राज्य के विश्वविद्यालयों और कॉलेजों से आपना दाखिला वापिस ले रहे हैं और इन्हें छोड़कर जा रहे हैं। इसके पीछे की मुख्य वजह कॉलेजों में देर से सेशन पूरा होना है और ये समस्या बिहार में कई सालों से चली आ रही है। मुजफ्फरपुर जिले के बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर बिहार यूनिवर्सिटी (BRBU) में स्थिति सबसे ज्यादा चिंताजनक है। पिछले पांच सालों से अब तक यहां के करीब 50000 छात्रों ने सत्र में देरी के कारण बीच में ही विश्वविद्यालय और कॉलेजों को छोड़ दिया है। इन विद्यार्थियों ने इग्नू समेत कई अन्य संस्थानों में प्रवेश ले लिया। तो आइए जानते हैं कि क्या है पूरा मामला?

महेश्वरनाथ महामाया महिला कॉलेज का ये है हाल

बेतिया के राज देवड़ी बना महेश्वरनाथ महामाया महिला कॉलेज में 2019 से 2022 सेशन के लिए स्नातक प्रोग्राम में करीब 1249 छात्राओं ने दाखिला लिया, लेकिन पार्ट थर्ड तक आते-आते इस प्रोग्राम में सिर्फ 958 विद्यार्थी रह गए। इस सेशन को 2022 तक पूरा किया जाना था, लेकिन मौजूदा समय में यहां पार्ट थर्ड के एग्जाम होंगे और वो भी दिसंबर तक होने की संभावना है।

एमजेके कॉलेज के इतने ने नहीं दिया एग्जाम

बेतिया में एक और दुर्गाबाग रोड पर बने MJK कॉलेज में 2019-2022 सेशन में स्नातक के कुल 3300 विद्यार्थियों ने दाखिला लिया, लेकिन पार्ट थर्ड के एग्जाम केवल 2600 ने ही दिए। इनमें प्रोमोटेड, पेपर बैक और री-एडमिशन वाले विद्यार्थी हैं। इसके पार्ट थर्ड का परिणाम अभी तक सामने नहीं आया है।

आरएलएसवाई कॉलेज की स्थिती

आरएलएसवाई कॉलेज में 2020-23 सेशन के लिए स्नातक प्रोग्राम में 3564 विद्यार्थियों ने दाखिला लिया, लेकिन सेकेंड पार्ट में केवल 3500 विद्यार्थियों ही परिक्षा में बैठे। इन विद्यार्थियों में प्रोमोटेड, पेपर बैक और री-एडमिशन वाले छात्र-छात्राएं शामिल हैं। इस कॉलेज में अबतक पार्ट थर्ड पूरा होने की स्थिती में हाना चाहिए था, लेकिन अभी भी यहां पार्ट सेकंड के एग्जाम भी करवाए गए हैं।

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