Career In Counsellor: आजकल की भाग- दौड़ भरी जिंदगी में जिस तरह से अपनी आकांक्षाओं,जीवन के लक्ष्यों तथा निजी जिम्मेदारियों की पूर्ति के लिए लोग तनावग्रस्त, अवसादग्रस्त हो रहे हैं और एकांकी होते जा रहे हैं। इन सामाजिक स्थितियों को देखते हुए अब लोगों को कांउसलर्स की आवश्यकता बढ़ती जा रही है। इस फील्ड में जाने के यदि कोई युवा काउंसलर के तौर पर अपना करियर बनाने का इच्छुक है तो उसके अंदर किसी की बात को ध्यानपूर्वक सुनने, समझने तथा जरुरतमंद व्यक्ति को समझाने का हुनर आना चाहिए।
जानें क्या है काउंसलर जॉब प्रोफाइल
काउंसलर का जॉब मुख्य रुप से किसी भी दुविधा में घिरे अवसादग्रस्त व्यक्ति को मेंटल हेल्थ वेलनेस प्रदान करना है। यह कई प्रकार की समस्याओं टैकल करने के रुप में हो सकता है। यह रिलेशनशिप, फैमिली, हेल्थ तथा एजुकेशनल रुप में होती हैं। इनमें से किस क्षेत्र में आप लोगों को मदद पंहुचाने का हुनर निखार सकते हैं। ये आपको पहचानना होगा। एक काउंसलर के तौर पर आपको प्रशिक्षित होना पड़ता है कि सामने वाले की मनःस्थिति को धैर्यपूर्वक शांति से सुनें। लोगों को उनके गोल प्लान की ओर केंद्रित करे और उसको अचीव करने के लिए एक सुगम रोडमैप सुझाए। ताकि अवसादग्रस्त व्यक्ति जिन अनचाही उलझनों में उलझ चुका है। उससे धीरे-धीरे सफलतापूर्वक बाहर आने का अहसास कराए।
काउंसलर बनने की योग्यता और संभावनाएं
काउंसलिंग के क्षेत्र में कैरियर बनाने के लिए किसी व्यक्ति का 10+2 में कम से कम 50 फीसदी अंकों के साथ होना चाहिए। वैसे तो ग्रेजुएशन में भी किसी खास स्ट्रीम में होना आवश्यक नहीं है लेकिन यदि बीए अथवा बीएससी इन साइकोलॉजी करने से एक अलग समझ विकसित होती है। ग्रेजुएशन के बाद किसी सीनियर काउंसलर के साथ काम को सीख सकते हैं और साथ ही साथ पोस्ट ग्रेजुएट इन काउंसलिंग साइकोलॉजी/एप्लाइड साइकोलॉजी/साइकोलॉजी की डिग्री के साथ अपनी स्पेशलाइजेशन को बढ़ा सकते हैं। आने वाले समय में देश को लगभग 14 लाख काउंसलर्स की आवश्यकता की संभावनाएं जताई गई हैं। एक काउंसलर के रुप में करियर के शुरुआती समय में 3-5 लाख सालाना कमा सकता है तो अनुभव के साथ आगे चलकर 12-15 लाख तक कमा सकते हैं
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